रिपोर्ट---गोपाल सिंह
अग्रिम जमानत याचिका रद्द करने के दिल्ली हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ पूर्व वित्त मंत्री ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका लगाई थी।सुप्रीम कोर्ट ने कहा- चूंकि याचिका दायर करने के बाद गिरफ्तारी हो चुकी है, इसलिए पुरानी याचिका का अब कोई मतलब नहीं।
आईएनएक्स मीडिया केस में सीबीआई अदालत ने पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम की रिमांड 4 दिन और बढ़ा दी। उन्हें 30 अगस्त को अदालत में पेश किया जाएगा। इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने चिदंबरम की याचिकाखारिज कर दी। पूर्व वित्त मंत्री चिदंबरम ने अंतरिम जमानत याचिका नामंजूर करने के दिल्ली हाईकोर्ट के फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। शीर्ष अदालत ने सोमवार को इस पर सुनवाई करते हुए कहा कि चूंकि मामला सुप्रीम कोर्ट में आने के बादचिदंबरम की गिरफ्तारी हो चुकी है, लिहाजा पुरानी याचिका का अब कोई अर्थ नहीं है। चिदंबरम नए सिरे से नियमित जमानत याचिका दाखिल करें।
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के हलफनामे का विरोध करते हुए सिब्बल ने कहा कि प्रवर्तन निदेशालय ने दिल्ली हाईकोर्ट के जज को इस केस से जुड़ी डायरियां और दस्तावेज बतौर सबूत सौंपे हैं। ये दस्तावेज पूछताछ के दौरान चिदंबरम को नहीं दिखाए गए। ऐसा नहीं हो सकता कि ईडी कोई दस्तावेज कोर्ट को सौंपे और हमें उन दस्तावेजों को देखने का अधिकार भी नहीं मिले। ईडी ने मीडिया में दस्तावेज लीक कर दिए। उन्होंने हलफनामा भी मीडिया में लीक कर दिया।
इससे पहले सिब्बल ने जस्टिस भानुमति की बेंच के सामने जमानत याचिका को मेंशन किया। उन्होंने कहा कि उनके मुवक्किल की याचिका लिस्टेड नहीं है। इस पर सुप्रीम कोर्ट ने रजिस्ट्रारसे जरूरी कदम उठाने और याचिका को लिस्ट करने को कहा।उधर, ईडीने सुप्रीम कोर्ट में दायर हलफनामे में कहा कि चिदंबरम और सह-साजिशकर्ताओं ने अर्जेंटीना, ऑस्ट्रिया, ब्रिटिश वर्जिन द्वीप समूह, फ्रांस, ग्रीस, मलेशिया, मोनाको, फिलीपींस, सिंगापुर, दक्षिण अफ्रीका, स्पेन और श्रीलंका में मूल्यवान संपत्ति जुटाई।ईडी का कहना है कि इस संबंध में विशिष्ट जानकारी वित्तीय खुफिया इकाई से प्राप्त की गई थी।